कानपुर। 2 जुलाई 2020 की रात को गैंगस्टर विकास दुबे ने अपने हथियारबंद साथियों के साथ मिलकर सीओ समेत आठ पुलिसकर्मियों की हत्या कर दी थी। वारदात के अगले दिन 3 जुलाई को पुलिस ने मुठभेड़ के दौरान अपराधी के मामा प्रेम प्रकाश पांडेय उर्फ प्रेम कुमार व चचेरे भाई अतुल दुबे को मार गिराया था। पुलिस की जांच में सामने आया कि, प्रेम प्रकाश पांडेय एक खुंखार डकैत था। उसके खिलाफ कई मुकदमे दर्ज थी। हत्याकांड के वक्त विकास का मामा भी मौजूद था। बचपन से इसी ने विकास को अपराध की दुनिया का ‘ककहरा’ पढ़ाया था। बिकरू के ग्रामीण बताते हैं कि विकास का गैर कानूनी काम मामा ही संभालता था।
बिल्हौर सीओ दलबल के साथ गैंगस्टर विकास दुबे को गिरफ्तार करने के लिए बिकरू गांव में दबिश देने के लिए गए थे। विकास को इसकी भनक लग गई थी और उसने योजनाबंद तरीके से पुलिसबल पर हमला कर दिया। इस दौरान सीओ समेत आठ पुलिसकर्मी शहीद हो गए। पुलिस ने जवाबी कार्रवाई करते हुए 3 जुलाई को विकास दुबे के मामा प्रेम प्रकाश पांडेय और चचेरे भाई को मुठभेड़ में मार गिराया था।
पुलिस की जांच में सामने आया था कि विकास दुबे का मामा प्रेम प्रकाश पांडेय डकैत था। बीहड़ में कई वर्ष गुजारे। प्रेम प्रकाश पांडेय पर मुकदमे भी दर्ज थे। लेकिन पुलिस उसे कभी गिरफ्तार नहीं कर पाई। ग्रामीणों के मुताबिक, प्रेम प्रकाश पांडेय ने बचपन से विकास दुबे को अपराध के तरीके सिखाए। जैसे-जैसे वह बड़ा होने लगा, वैसे-वैसे विकास का कद अपराध की दुनिया में बढ़ता गया। विकास पर बीजेपी के एक नेता की हत्या का आरोप लगा और वह जेल भी गया।विकास दुबे बिकरू गांव के बाहर बगीचे में युवाओं को असलहा चलाने के साथ ही गैर कानूनी कार्य करने की ट्रेनिंग कैंप खोला हुआ था। इसकी जिम्मेदारी प्रेम प्रकाश पांडेय संभाल रहा था। ग्रामीणों की मानें तो विकास, गांव के नाबालिग युवाओं को पैसे का लालच देकर अपने गैंग में शामिल करता और कैंप में इन्हें ट्रेंनिग दी जाती थी। प्रभात मिश्रा भी इसी कैंप से निकला अपराधी था। जिसे पुलिस ने फरीदाबाद से गिरफ्तार करने के बाद मुठभेड़ में मार गिराया था।
आठ पुलिसकर्मियों की शहादत के बाद यूपी पुलिस विकास दुबे और उसके साथियों के खात्में के लिए ऑपरेशन शुरू किया। पुलिस ने विकास को मध्य प्रदेश के उज्जैन से गिरफ्तार किया। कानपुर के भौंती स्थित गैंगस्टर एनकाउंटर में मारा गया। विकास की मौत से पहले उसके रिश्तेदार व अन्य साथी समेच पांच लोग पुलिस की बंदूक की गोलियों का शिकार बने थे। विकास के मामा प्रेम प्रकाश व चचेरे भाई अतुल कुमार दुबे का एनकाउंटर किया। हमीरपुर में भतीजे अमर दुबे को पुलिस ने मार गिराया। इटावा और कानपुर में विकास दुबे के दो और साथी प्रभात मिश्रा व रणवीर शुक्ला मुठभेड़ में मारे गए

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