रेल संरक्षा व सुरक्षा की दृष्टि से रेलवे ने सतर्कता बरतनी शुरू कर दी है। कंचौसी के सुखमपुर रेलवे क्रासिग में अप व डाउन लाइनों पर कार्य सोमवार को पूर दिन कराया गया। सुबह छह बजे से ट्रैकमैन कार्यों में डटे रहे और क्रासिग बंद रही। 30 किमी प्रति घंटा के काशन पर ट्रेनों का संचालन हो सका। धीरे-धीरे यात्री ट्रेनों के अलावा मालगाड़ियों को गंतव्य की ओर रवाना किया जा सका।
देर शाम खत्म हुए कार्य के बाद काशन हटाया जा सका। कंचौसी रेलवे स्टेशन की पूर्वी छोर पर सुखमपुर रेलवे क्रासिग संख्या -छह है। उत्तर मध्य रेलवे प्रयागराज मंडल के महाप्रबंधक प्रदीप कुमार ने नौ मार्च को कानपुर-टूंडला रेलखंड का मुआयना करते हुए ट्रैक की हकीकत जांची थी। मिले निर्देशों के तहत ट्रैक हिस्से के कार्य को लेकर रेलपथ विभाग की टीमों ने कवायद शुरू की। शुक्रवार से क्रासिग को सड़क यातायात के लिए बंद रखा गया। किसी प्रकार के गतिरोध से बचने के लिए जीआरपी-आरपीएफ व कस्बा पुलिस तैनात रही। वहीं वाहनों को इस क्रासिग के बदले बिझाई, दिबियापुर, रानेपुर गांव की क्रासिग से वाहनों को पास कराया जा सका। गोमती एक्सप्रेस, नई दिल्ली-लखनऊ स्वर्ण शताब्दी, महानंदा एक्सप्रेस समेत सभी यात्री ट्रेनें व मालगाड़ियों को लेकर काशन रहा।
अधूरी छोड़ दी गई इंटर लाकिग
अछल्दा: रेलवे स्टेशन की क्रासिग संख्या 13वीं के बिधूना रोड छोर पर सराय तिराहा तक इंटरलाकिग का कार्य होना था। निर्माण खंड के इंजीनियर द्वारा कसरत शुरू कराई गई लेकिन कार्यों को पूरा नहीं किया जा सका। रेलवे व नगर पंचायत को अपने-अपने हिस्से में कार्य करना था। नगर पंचायत अध्यक्ष राजेश पोरवाल ने बताया कि नाली निर्माण कार्य कराया गया था। उसे ध्वस्त करके इंटरलाकिग की गई है। रेलवे की ओर से जो काम कराया गया, उसे सुचारु ढंग से नहीं किया गया। इस कारण दिक्कत बनी है।