नया ऑक्सीजन प्लांट 1000 लीटर क्षमता का होगा- प्रो0 रमाकान्त यादव
सैफई । (अनिल कुमार पाण्डेय) कोविड-19 की दूसरी लहर के मध्य विश्वविद्यलय में बन रहे दूसरे ऑक्सीजन प्लांट का निरीक्षण विश्वविद्यालय के कार्यवाहक कुलपति प्रो0 (डा0) रमाकान्त यादव ने किया। इस दौरान उन्होंने कार्यदायी संस्था से अतिशीघ्र ऑक्सीजन प्लांट चालू करने का निर्देश दिया तथा बताया कि विश्वविद्यालय में समुचित मात्रा में कोविड एवं नाॅन कोविड वार्डों के लिए ऑक्सीजन उपलब्ध है। नये ऑक्सीजन प्लांट के बन जाने से आकस्मिक डिमान्ड बढ़ने पर बिना रूकावट के कोविड-19 अस्पताल एवं जरूरी लाइफ सेविंग वार्डों को ऑक्सीजन आपूर्ति हो सकेगी। इस अवसर पर कार्यवाहक कुलपति प्रो0 (डा0) रमाकान्त यादव के साथ कुलसचिव सुरेश चन्द्र शर्मा, सर्जरी विभाग के विभागाध्यक्ष डा0 एसपी सिंह, कार्यवाहक चिकित्सा अधीक्षक डा0 सुनील कुमार, डा0 सोमेन्द्र पाल सिंह, डा0 अमित चैधरी, डा0 राजमंगल तथा प्रशासनिक अधिकारी उमाशंकर आदि उपस्थित रहे।
इस अवसर पर कार्यवाहक कुलपति प्रो0 (डा0) रमाकान्त यादव ने बताया कि जल्दी ही 1000 लीटर क्षमता वाला यह ऑक्सीजन प्लांट बनकर तैयार हो जायेगा। इस नये ऑक्सीजन प्लांट के अतिरिक्त पहले से चालू ऑक्सीजन प्लांट से भी आक्सीजन बनाया जाता रहेगा। नये ऑक्सीजन प्लांट के बन जाने से आकस्मिक डिमान्ड बढ़ने पर बिना रूकावट के कोविड-19 अस्पताल एवं जरूरी लाइफ सेविंग वार्डों जिसमें आईसीयू, एनआईसीयू, सर्जिकल आईसीयू, पीडियाट्रिक आईसीयू तथा आप्रेशन थियेटर में लगातार ऑक्सीजन की आपूर्ति सुनिश्चित की जा सकेगी। उन्होंने बताया कि विश्वविद्यालय में कोविड संक्रमित मरीजों तथा अन्य गंभीर रोगियों के इलाज तथा साॅस की बीमारी से पीड़ित मरीजों के लिए ऑक्सीजन चैबीस घंटेे पर्याप्त मात्रा में उपलब्ध है।
कुलसचिव सुरेश चन्द्र शर्मा ने बताया कि नये ऑक्सीजन प्लांट के बन जाने से कोविड-19 मरीजों के अलावा अन्य गंभीर मरीजों को भी फायदा होगा। उन्होंने बताया कि यदि किसी कारणवश आकस्मिक ऑक्सीजन डिमान्ड बढ़ती है तो इस नये बन रहे ऑक्सीजन प्लांट से उस कमी को पूरा किया जा सकेगा। इसके अलावा विश्वविद्यायल के पूर्व प्लांट से भी ऑक्सीजन बनाना पहले की तरह जारी रहेगा।